♦ अनुपम मिश्र > मैं उनसे कभी मिल नहीं पाया था. सभा गोष्ठियों में दूर से ही देखता था उन्हें. अपरिचय की एक दीवार थी. यह कोई ऊंची तो नहीं थी पर शायद मेरा अपना संकोच रोके रहा आगे बढ़…
♦ अनुपम मिश्र > मैं उनसे कभी मिल नहीं पाया था. सभा गोष्ठियों में दूर से ही देखता था उन्हें. अपरिचय की एक दीवार थी. यह कोई ऊंची तो नहीं थी पर शायद मेरा अपना संकोच रोके रहा आगे बढ़…