जनवरी 2023

कुलपति उवाच 

03   जीवन में ईश्वर

     के.एम. मुनशी

संदेश

04   सुरेंद्रलाल जी. मेहता

05   होमी दस्तुर

पहली सीढ़ी

11   अरे, अभी तो…

     रोबर्ट फ्रोस्ट

आवरण-कथा

12   सूर्यास्त धकियाने का सुख

       सम्पादकीय

14   तन से बूढ़ा, मन से बूढ़ा नहीं 

       रमेश दवे 

23   उम्र के चढ़ाव का उतार देखते रहे! 

       प्रकाश मनु

29   वार्धक्य पूर्ण मुक्ति के पूर्व का पूर्वाभ्यास

       नर्मदा प्रसाद उपाध्याय

32   उम्र के चढ़ाव का उतार 

       डॉ. श्रीराम परिहार

38   जीवन-विकास की चरमावस्था

       पदुमलाल पुन्नालाल बख्शी

43   जीवन संध्या में सुबह की धूप के फूल 

       ओम निश्चल

54   इकीगाइ

शब्द-सम्पदा

188  `चिरंजीव’ यानी `चिरजीवी’

       अजित वडनेरकर

व्यंग्य

50   बूढ़ा ठग

       प्रेम जनमेजय

पूर्व-कथन

56   संत्रास अकेलेपन का

       गंगा शरण सिंह

64   जो अकेले रह गये…

       संज्ञा उपाध्याय 

73   आत्मसम्मान की वापसी  

       रवींद्र कात्यायन

85   उधड़े स्वेटर को बुनते हुए… 

106 `आज़ादी’ कहानी का पुनर्पाठ करते हुए

108  बूढ़े बोझ की पीड़ा

129  अकेली पड़ती उम्र का अवसाद

140  एक असमाप्त जीवन की बहाली का प्रयास

160  कहानी के पीछे जिज्ञासा

172  `ब्लेड’ में मेरे खुद्दार मां-बाप हैं!

कथा

58   अकेली

       मन्नू भंडारी

66   ग्लोबल गांव के…

       रमेश उपाध्याय

76   वापसी

       उषा प्रियंवदा

88   उधड़ा हुआ स्वेटर

       सुधा अरोड़ा

108  आज़ादी

       ममता कालिया

120  निर्वासित

       सूर्यबाला

131  स्मार्टफोन

       प्रियदर्शन

142  शरणागत

       ओमा शर्मा

162  दो बूढ़ी होती औरतें

       मधुसूदन आनंद

175  ब्लेड

       जितेंद्र भाटिया

कविताएं

47   …मगर धीरे-धीरे

       रामदरश मिश्र

181  एक बूढ़ा आदमी

       कान्सटैन्टीन कवाफी

182  वृद्धाश्रम

       विजय कुमार

183  जाती हुई धूप संध्या की 

       यश मालवीय

184  जीवन संध्या की कविताएं

       रवींद्रनाथ ठाकुर

186  वृद्धाएं धरती का नमक हैं 

       अनामिका

समाचार

191  भवन समाचार

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